चीनीमिल के पुनः संचालन से सितारगंज को मिलेगी आर्थिक मजबूती : इकबाल सिंह ।

सितारगंज, नानकमत्ता, खटीमा से जुड़े किसानों को मिलेगा लाभ
एल्कोहल व ऊर्जा प्लांट से बढ़ेगी चीनीमिल की आय।

सितारगंज | उत्तराखंड अल्पसंख्यक आयोग के उपाध्यक्ष (राज्यमंत्री स्तर) सरदार इकबाल सिंह ने कहा कि सितारगंज में चीनी मिल पुनः चलने सें क्षेत्र के लोगों को आर्थिक मजबूती मिलेगी। कुशल एवं अकुशल बेरोजगार श्रमिकों को रोजगार मिलेगा। चीनीमिल समेत अन्य दो प्लांट लगने से आय बढ़ेगी।

अल्पसंख्यक आयोग के उपाध्यक्ष इकबाल सिंह ने कहा सितारगंज चीनीमिल बंद होने के बाद क्षेत्र के किसान धान व गेहूं की फसल पर निर्भर हो गए थे। गन्ना किसानों की संख्या में लगातार कमी के कारण गन्ना रखवा भी 6500 हेक्टेयर से 3500 हेक्टेयर रह गया था। चीनीमिल पुनः संचालित होने के बाद गन्ना किसानों को इसका लाभ होगा। गन्ना फसल रखवा बढ़ेगा। चीनीमिल के निकट स्थानीय बाजार के व्यापारियों के साथ-साथ फल, सब्जी व फास्ट फूड संचालकों को भी आर्थिक मजबूती मिलेगी। उन्होंने कहा कि प्रत्यक्ष एवं अप्रत्यक्ष रूप से क्षेत्र के करीब नौ हजार परिवारों की आर्थिक स्थिति मजबूत होगी। 

चीनीमिल पुनः संचालन को लगातार प्रयासरत
सितारगंज। 5 दिसंबर 2017 को कैबिनेट ने सितारगंज  की किसान सहकारी चीनी मिल बंद करने का निर्णय लिया था। जिसके बाद से सितारगंज, नानकमत्ता, खटीमा क्षेत्र के गन्ना किसान मायूस थे। आयोग के उपाध्यक्ष सरदार इकबाल सिंह ने मुख्यमंत्री को मांगपत्र सौंपकर लगातार किसानों की समस्याओं से अवगत कराते रहे। सरकार ने चीनीमिल के साथ एल्कोहल एवं ऊर्जा प्लांट लगाने के लिए अनुमति दी है। गन्ना किसानों ने सरकार के इस निर्णय का स्वागत किया है।

  निरीक्षण कर सरकार को भेजी थी रिपोर्ट
सितारगंज | अल्पसंख्यक आयोग के उपाध्यक्ष सरदार इकबाल सिंह ने किसान आयोग के उपाध्यक्ष के साथ 18 जनवरी 2020 को सितारगंज चीनीमिल का निरीक्षण किया था। चीनी मिल की तत्कालीन स्थिति व मिलप्रबंधन, कर्मचारियों एवं किसानों की समस्याओं की रिपोर्ट तैयार कर तत्कालीन मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को सौंपी थी।

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